Puja Khedkar, एक प्रशिक्षु IAS अधिकारी, हाल ही में विवादों में घिर गई हैं। उन्होंने अपने निजी ऑडी कार में लाल-नीली बत्ती और VIP नंबर प्लेट का उपयोग किया है, जिससे यह मामला सामने में आया। हाल में पुणे में तैनात पूजा खेडकर को मंगलवार को वाशिम, मध्य महाराष्ट्र में स्थानांतरित कर दिया गया है। वह अपनी प्रशिक्षण अवधि वाशिम में 30 जुलाई 2025 तक पूरी करेंगी।
Puja Khedkar IAS कौन हैं ?
Puja Khedkar 2022 बैच की IAS अधिकारी हैं और महाराष्ट्र कैडर से ताल्लुक रखती हैं। उन्होंने UPSC परीक्षा में अखिल भारतीय रैंक (AIR) 841 प्राप्त की थी। उनकी नियुक्ति के बाद से ही वह अपने पद के प्रति गंभीरता और मेहनत के लिए जानी जाती थीं, लेकिन हाल ही में उनके ऊपर लगे आरोपों ने उनकी छवि को धूमिल कर दिया है।
Puja Khedkar IAS का क्या है विवाद ?
पूजा खेडकर ने हाल ही में अपने निजी ऑडी कार में लाल-नीली बत्ती और VIP नंबर प्लेट का उपयोग किया। इसके अलावा, उन्होंने IAS के प्रशिक्षु अधिकारियों के लिए उपलब्ध नहीं सुविधाओं की मांग की। पुणे कलेक्टर सुहास दीवसे द्वारा जनरल एडमिनिस्ट्रेशन डिपार्टमेंट को दी गई रिपोर्ट के अनुसार, खेडकर ने अलग से केबिन, गाड़ी, आवासीय क्वार्टर और एक चपरासी की मांग की थी, जो उन्हें प्रदान नहीं किया गया।
Puja Khedkar IAS के पिता का प्रभाव
Puja Khedkar के पिता ने जिला कलेक्टर कार्यालय पर दबाव डाला कि उनकी बेटी की मांगों को पूरा किया जाए। पिता के इस दबाव के कारण जिला कलेक्टर कार्यालय में तनाव की स्थिति उत्पन्न हो गई थी। खेडकर के पिता ने धमकी भी दी थी कि यदि उनकी बेटी की मांगों को पूरा नहीं किया गया तो इसके गंभीर परिणाम भुगतने होंगे।
Puja Khedkar IAS के फर्जी प्रमाण पत्र
पूजा खेडकर पर आरोप है कि उन्होंने नागरिक सेवा परीक्षा को पास करने के लिए फर्जी विकलांगता और अन्य पिछड़ा वर्ग (OBC) प्रमाण पत्र जमा किए। उन्होंने मानसिक बीमारी और कम दृष्टि का प्रमाण पत्र भी जमा किया। अप्रैल 2022 में उन्हें एम्स दिल्ली में विकलांगता प्रमाण पत्र के सत्यापन के लिए बुलाया गया था, लेकिन उन्होंने कोविड संक्रमण का हवाला देते हुए टेस्ट में हिस्सा नहीं लिया था। इस तरह से उन्होंने कई बार अपने विकलांगता प्रमाण पत्रों के सत्यापन के लिए आवश्यक मेडिकल टेस्ट से बचने की कोशिश की।
Puja Khedkar IAS के मेडिकल टेस्ट से बचना
पूजा खेडकर ने कई बार अपने विकलांगता प्रमाण पत्रों के सत्यापन के लिए आवश्यक मेडिकल टेस्ट से बचने की कोशिश की। UPSC ने उनकी नियुक्ति पर सवाल उठाया और इसे सेंट्रल एडमिनिस्ट्रेटिव ट्रिब्यूनल (CAT) में चुनौती दी, जिसने 23 फरवरी 2023 को उनके खिलाफ फैसला सुनाया। हालांकि, बाद में उनका MRI प्रमाण पत्र स्वीकार कर लिया गया, जिससे उनकी IAS नियुक्ति को मान्यता मिली।
Puja Khedkar IAS के OBC नॉन-क्रीमी लेयर का सवाल
आरटीआई कार्यकर्ता विजय कुंभार ने बताया कि खेडकर के पिता दिलीप खेडकर की संपत्ति लगभग 40 करोड़ रुपये की है, जो OBC नॉन-क्रीमी लेयर की योग्यता पर सवाल उठाती है। उनके पास 110 एकड़ कृषि भूमि, दुकानें, और कई अपार्टमेंट्स सहित बड़ी संपत्ति है। यह संपत्ति कृषि भूमि सीमा अधिनियम का उल्लंघन करती है। इसके अलावा, उनके पास 1.6 लाख वर्ग फुट की दुकानें, सात अपार्टमेंट्स, 900 ग्राम सोना, हीरे, एक सोने की घड़ी जिसकी कीमत 17 लाख रुपये है, चार कारें, दो निजी कंपनियों में साझेदारी, और एक ऑटोमोबाइल फर्म भी है। स्वयं पूजा खेडकर के पास 17 करोड़ रुपये की संपत्ति है।
पूजा खेडकर को पुणे से वाशिम स्थानांतरित करने के फैसले के बाद ये सारी जानकारियां सामने आई हैं। उनकी कई मांगों को पूरा करने में विफल रहने पर उन्हें प्रशिक्षण के दौरान वाशिम में सुपरन्यूमेरी असिस्टेंट कलेक्टर के रूप में तैनात किया गया है।
इस विवाद ने पूजा खेडकर की योग्यता और ईमानदारी पर सवाल खड़े कर दिए हैं, जो अब पूरी प्रशासनिक प्रणाली के लिए एक महत्वपूर्ण मामला बन चुका है। इस प्रकरण ने न केवल पूजा खेडकर की छवि को प्रभावित किया है बल्कि प्रशासनिक सेवा में पारदर्शिता और ईमानदारी पर भी गंभीर प्रश्न खड़े कर दिए हैं।
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